यह सुनकर शायद आपको आश्चर्य हो, लेकिन यह सच है। हम रोज़ सुबह जिस विदेशी टूथपेस्ट से अपने दिन की शुरुआत करते हैं, उसमें कई ऐसे हानिकारक केमिकल्स होते हैं जो हमारे दाँतों और शरीर को धीरे-धीरे नुकसान पहुँचाते हैं।
श्री राजीव दीक्षित जी ने हमेशा इस धीमी ज़हर की तरफ हमारा ध्यान आकर्षित किया और हमारी हज़ारों साल पुरानी दंत-रक्षा पद्धतियों को अपनाने की सलाह दी।
टूथपेस्ट का खतरनाक सच
सोडियम फ्लोराइड (Sodium Fluoride): यह एक अत्यंत विषैला केमिकल है। शरीर में इसकी अधिकता हड्डियों को कमजोर कर सकती है और अन्य स्वास्थ्य समस्याओं को जन्म दे सकती है।
सोडियम लॉरिल सल्फेट (SLS): यह झाग बनाने वाला एक सस्ता डिटर्जेंट है, जो मुँह के छालों (Mouth Ulcers) का एक प्रमुख कारण हो सकता है।
हड्डियों का चूरा (Bone Ash): कई टूथपेस्ट को चमकाने और घिसने के लिए उनमें जानवरों की हड्डियों का बारीक चूरा मिलाया जाता है, जो हमारी धार्मिक मान्यताओं के विरुद्ध भी है।
मीठा स्वाद: टूथपेस्ट में सैकरीन जैसे आर्टिफिशियल स्वीटनर मिलाए जाते हैं, जो दाँतों के लिए हानिकारक हो सकते हैं।
स्वस्थ दाँतों के लिए पारंपरिक विकल्प
सर्वोत्तम दातुन (Datun): नीम का दातुन कीटाणुनाशक (antibacterial) होता है और दाँतों को सड़ने से बचाता है। बबूल का दातुन मसूड़ों को मजबूत बनाता है। दातुन करने से मुँह की दुर्गन्ध भी समाप्त होती है।
घर पर बनाएं दंत मंजन: आप घर पर ही सर्वश्रेष्ठ दंत मंजन बना सकते हैं। विधि: 2 चम्मच हल्दी, 5 चम्मच सेंधा नमक और 2 चम्मच सरसों का तेल मिलाकर एक पेस्ट बना लें। इससे उंगली से धीरे-धीरे मसूड़ों और दाँतों की मालिश करें।
लाभ: यह प्राकृतिक मंजन दाँतों को सफ़ेद और चमकदार बनाता है, मसूड़ों से खून आने (Pyorrhea) की समस्या को खत्म करता है और दाँतों को मजबूती देता है।
अस्वीकरण: यह जानकारी केवल शैक्षिक उद्देश्य हेतु है और चिकित्सा सलाह का विकल्प नहीं है। किसी भी स्वास्थ्य समस्या के लिए कृपया योग्य चिकित्सक से परामर्श करें।
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