जयपुर, 1 अगस्त (Udaipur Kiran) । राजस्थान हाईकोर्ट ने राजस्थान विश्वविद्यालय के छात्रसंघ चुनाव नहीं कराने के मामले में राज्य सरकार को जवाब पेश करने के लिए दस दिन का समय दिया है। जस्टिस अनूप कुमार ढंड ने यह आदेश छात्र जय राव की ओर से दायर याचिका पर प्रारंभिक सुनवाई करते हुए दिए।
सुनवाई के दौरान महाधिवक्ता राजेन्द्र प्रसाद अदालत में पेश हुए। उन्होंने मामले में जवाब पेश करने के लिए अदालत से दस दिन का समय मांगा। इस पर अदालत ने राज्य सरकार को जवाब के लिए समय देते हुए प्रकरण की सुनवाई टाल दी।
याचिका में बताया कि विश्वविद्यालय के प्रत्येक छात्र को अपना प्रतिनिधि चुनने का संवैधानिक अधिकार है। अपने प्रतिनिधि के माध्यम से ही विद्यार्थियों की समस्याएं प्रशासन तक पहुंचती हैं। सुप्रीम कोर्ट ने भी केरल विश्वविद्यालय के मामले में इसे मूलभूत अधिकार माना है। इसके साथ ही सुप्रीम कोर्ट कर चुका है कि मूलभूत अधिकार को किसी कानून या कोर्ट आदेश से छीना नहीं जा सकता। वहीं लिंगदोह कमेटी की सिफारिशों के तहत हर साल छात्रसंघ चुनाव कराए जाने चाहिए। कमेटी की सिफारिश के अनुसार सत्र शुरु होने के छह से आठ सप्ताह के भीतर छात्रसंघ चुनाव होने चाहिए। याचिका में कहा गया कि लिंगदोह कमेटी की सिफारिश होने सुप्रीम कोर्ट की ओर से इसे मूलभूत अधिकार घोषित करने के बावजूद भी राजस्थान विवि प्रशासन ने शैक्षणिक सत्र 2025-26 के लिए छात्रसंघ चुनाव कराने के लिए अभी तक कोई अधिसूचना जारी नहीं की है। दूसरी ओर समान मामले में एक अन्य छात्र अभय चौधरी ने भी याचिका दायर की है।
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(Udaipur Kiran)
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